इस पोस्ट में हम पढ़ेंगे की brahma muhurta time today क्या है ? हिन्दू धर्म के अनुसार पूरी रात में 15 मुहूर्त होते हैं। सूर्योदय से पहले अंतिम मुहूर्त से पहला मुहूर्त यानि 13वां मुहूर्त ब्रह्म मुहूर्त कहलाता है। हर मुहूर्त 48 मिनट का माना जाता है। इसलिए ब्रह्म मुहूर्त सूर्योदय से 1 घंटे 36 मिनट पहले शुरू होता है और सूर्योदय से 48 मिनट पहले समाप्त होता है।
आज का ब्रह्म मुहूर्त का समय brahma muhurta time today
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नीचे की सारणी में आपको आपके द्वारा चुने गए स्थान का पूरे महीने का ब्रह्म मुहूर्त का समय भी दिखाया गया है।
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आज का ब्रह्म मुहूर्त का समय
पूरे महीने का ब्रह्म मुहूर्त
नीचे दी गई सारणी में इस महीने फरवरी के सूर्योदय और ब्रह्म मुहूर्त का समय दर्शाया गया है। ब्रह्म मुहूर्त का समय सूर्योदय से 1 घंटा 26 पहले शुरू होकर ठीक सूर्योदय से 48 मिनट पहले समाप्त होता है।
तारीख | ब्रह्म मुहूर्त समय |
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ब्रह्म मुहूर्त का पौराणिक या धार्मिक महत्व
ऋषि वाल्मीकि द्वारा रचित रामायण में वर्णन मिलता है की सीता हरण के बाद बजरंग बली ब्रह्म मुहूर्त के समय ही अशोक वाटिका में गए थे। बहुत ढूँढने के बाद भी उन्हे मत सीता कहीं नजर नहीं आई लेकिन तभी उन्हे एक श्लोक सुनाई दिया “वर्ण कीर्ति मतिं लक्ष्मीं स्वास्थ्यमायुश्च विदन्ति। ब्राह्मे मुहूर्ते संजाग्रच्छि वा पंकज यथा” इसका अर्थ है की जो मानव ब्रह्म काल में उठता है उसको सुंदरता, यश , बुद्धि, अच्छा स्वास्थ्य और दीर्घायु की प्राप्ति होती है और उसका शरीर कमल के पुष्प की तरफ साफ और निर्मल हो जाता है।
सिख धर्म में सूर्योदय से पहले के समय को बहुत शुभ माना जाता है और इसे ब्रह्म मुहूर्त की जगह अमृत बेला नाम दिया गया है। इसका वर्णन गुरुवानी में भी मिलता है, लिखा गया है की “अमृत वेला सचु नाउ वडिआई विचारु” अर्थात व्यक्ति को अमृत वेला में उठ कर ईश्वर के नाम का जाप और उसके गुणों का विचार करना चाहिए। अमृत वेला एक ऐसा समय बताया गया है जो आदमी को खुद से जोड़ता है और आत्मचिंतन का सबसे उत्तम समय होता है।
इस्लाम धर्म में इसे फ़जर की नमाज माना जाता है। सूर्य की पहली किरण जब पृथ्वी पर पड़ती है उस समय से लेकर सूर्योदय होने तक इस्लाम में फ़जर की नमाज पढ़ी जाती है। जो दिन की पहली नमाज होती है। इस तरह चाहे कोई भी धर्म या संप्रदाय हो उसमें सूर्योदय से पहले के समय को बहुत महत्वपूर्ण माना गया है।
ब्रह्म मुहूर्त का वैज्ञानिक महत्व
ब्रह्म मुहूर्त का पौराणिक और धार्मिक महत्व जानने के बाद आइए इसका वैज्ञानिक पहलू भी देखते हैं। आइए ब्रह्म मुहूर्त के वैज्ञानिक पहलू को कुछ बिंदुओं की मदद से समझते हैं।
- melatonin हार्मोन जो नींद लेने में सहायक होता है। हमारा शरीर अपनी आवश्यकता के अनुसार इस हार्मोन का निर्माण करती हैं। अंधेरे में यह हार्मोन सबसे ज्यादा बनता है और सुबह होते होते इसका निर्माण कम होने लगता है। ब्रह्म मुहूर्त के समय के लगभग इसका निर्माण बिल्कुल बंद हो जाता है यानि हमारा शरीर naturally हमने उठने को तैयार कर देता है। इसी तरह cortisol हार्मोन जो हमें जगाने यानि शरीर को active रखता है। इसका श्राव भी हमारा शरीर सुबह होने के साथ बढ़ाने लगता है। इस तरह ब्रह्म मुहूर्त ऐसा समय है जब हमारा शरीर हमारे शरीर को उठाने वाले हार्मोन्स का श्राव बढ़ाने लगता है और सुलाने वाले हार्मोन्स घटाने लगता है।
- “International Journal of Yoga and Allied Sciences” के अनुसार सुबह के समय हमारे वातावरण में Nascent oxygen की मात्रा सबसे ज्यादा होती है। आक्सिजन का यह रूप हमारे खून में उपस्थित हीमोग्लोबिन से बहुत जल्दी घुल जाती है। जो हमारे शरीर के लिए बहुत लाभदायक है। इससे हमारी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर में ऊर्जा का स्तर भी बढ़ता है और ph का स्तर भी सही बना रहता है। इसके अलावा शरीर का अकड़पन भी कम होता है।
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अन्य महत्वपूर्ण जानकारी
ब्रह्म मुहूर्त में उठने के फायदे
सनातन धर्म में ऐसा माना जाता है की जो मनुष्य ब्रह्म मुहूर्त में उठता है पूरे दिन उसके शरीर में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता रहता है। माना जाता है की एक सफल मनुष्य को हमेशा ब्रह्म मुहूर्त में उठकर नहा धोकर दिन भर के अपने कार्यों के लिए तैयार हो जाना चाहिए। ब्रह्म मुहूर्त में उठने से मनुष्य का स्वास्थ्य अच्छा बना रहता है और मानसिक शांति मिलती है।
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